*चेतना विकास मूल्य शिक्षा कार्यशाला के समापन में जिले के कलेक्टर, पुलिस अधीक्षक, अपर कलेक्टर और एसडीएम हुए शामिल*

*युवा अपनी ऊर्जा राष्ट्र और समाज निर्माण में लगाएं - कलेक्टर*

*आज का युवा ऊर्जा से भरा हुआ है, उत्तम स्वास्थ्य के लिए दिनचर्या व्यवस्थित होना आवश्यक - डॉ साधन भट्टाचार्य, मानव तीर्थ*

 

खबर वर्ल्ड न्यूज़ - बेमेतरा -  सर्वतोमुखी समाधान शिक्षा संस्कार समिति द्वारा संचालित समाधान महाविद्यालय में आज चेतना विकास मूल्य शिक्षा शिविर का समापन हुआ | इस कार्यशाला के प्रबोधक दिल्ली के श्रवण कुमार शुक्ल जी थे जो दिल्ली हैप्पीनेस पाठ्यक्रम टीम के कोर सदस्य और भारतीय शिक्षा बोर्ड के सलाहकार हैं। यह छ: दिवसीय शिविर बीएड, डिग्री एवं आईटीआई के विद्यार्थियों हेतु आयोजित था | इस शिविर में मानव के जीने के पांचो आयाम के ऊपर विस्तार पूर्वक चर्चा की गई एवं मानव में व्यवस्था, परिवार में व्यवस्था, समाज में व्यवस्था, प्रकृति में व्यवस्था, अस्तित्व में व्यवस्था पर व्यापक चर्चा हुई | समापन अवसर पर उपस्थित, जिले के कलेक्टर रणवीर शर्मा ने कहा कि हमें समय का सदुपयोग करना चाहिए व शरीर को स्वस्थ रखना चाहिए एवं युवाओं के पास जो एनर्जी है उसे व्यवस्थित दिशा में लगाना चाहिए ताकि समाज एवं राष्ट्र का निर्माण हो सके | इसके साथ-साथ शिक्षक को समझदार होने की बात कही | वहीं जिले के पुलिस अधीक्षक रामकृष्ण साहू ने अपने उद्बोधन में कहा कि सभी दार्शनिकों ने अपने अंदर झांकने के बाद समाज को एक दर्शन दिया जब तक हम अपने अंदर नहीं झांकेंगे तब तक हम उस सत्य का साक्षात्कार नहीं कर पाएंगे | जब तक सत्य स्पष्ट नहीं होगा हम समझ में परिवार में समझदारी पूर्वक जी नहीं पाएंगे। मानवतीर्थ संस्थान किरीतपुर से आये डॉ. साधन भट्टाचार्य जी ने बताया कि आज का युवा ऊर्जा से भरा हुआ है, केवल दिनचर्या का व्यवस्थित होना आवश्यक है जिसके लिए स्वास्थ्य का उत्तम होना जरूरी है तभी जीवन का आनंद लिया जा सकता है l उन्होंने दर्शन के प्रणेता श्रद्धेय श्री ए. नागराज जी के प्रति कृतज्ञता ज्ञापित किया। इस दर्शन में सभी मानव के सुखपूर्वक जीने के बात स्पष्ट है।इसके समापन के अवसर पर शिविरार्थियों द्वारा अपने अनुभव व्यक्त किए गए l इसी क्रम में बीएड के छात्राध्यापिका रेवती साहू ने अपने अनुभव साझा करते हुए बताया मैंने खुद को जांचने का काम किया है तो मैने पाया कि मैं और शरीर संयुक्त साकार रूप हूं और शरीर ही आवश्यकताओं के साथ मूल्य की भी आवश्यकता है l वही छात्र सिद्धांत डोंडे ने बताया कि भौतिक सुविधा को ही सुख मानता था इस शिविर से स्वयं के जीने का प्रयोजन समझ में आया है l शुभम सोनी कहते है कि बचपन से ही उच्च शैक्षिक उपलब्धि के बावजूद भी मेरे जीवन में एक अधूरापन था शिविर से ऐसा लगता है वह अधूरापन दूर हो सकता है l मन में विश्वास हुआ है l योगा डिप्लोमा की विद्यार्थी नीलम साहू एवं श्रद्धा राजपूत ने बताया कि स्वयं पर ध्यान गया है एवं परिवार में मूल्य की आवश्यकता एवं संबंधों के लिए समझदारी के प्रति ध्यान गया l मोतीलाल एवं गौरी वर्मा तथा रोहिणी जी ने बताया कि इस शिविर से संबंधों एवं व्यवस्था की ओर ध्यान गया है जो कि एक मानव के जीने के लिए आवश्यक है l साथ ही हमें यह लगता है कि शिविर प्रत्येक मानव के लिए आवश्यक है। कार्यशाला के समापन अवसर पर महाविद्यालय के डायरेक्टर डॉ अवधेश पटेल ने कार्यशाला का परिचय और उद्देश्य के बारे में बताए और अंत में महाविद्यालय के संचालक श्री अविनाश तिवारी जी ने प्रतिभागियों को शिविर के सफल समापन के लिए बधाई व्यक्त किया एवं सभी से कहा कि इस सूचना को अपने जीवन में जांचने का प्रयास करें एवं मानव जीवन को पूर्णता के साथ जीयें l इस कार्यक्रम में महाविद्यालय समिति के अध्यक्ष डॉ. अलका तिवारी, सचिव डॉ. अवधेश पटेल, ज्ञानोदय पब्लिक स्कूल एवं सृजन पब्लिक स्कूल के डायरेक्टर, प्राचार्य एवं अध्यापक सहित समाधान महाविद्यालय के समस्त सहा. प्राध्यापक एवं छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे |